सिंहेश्वर मधेपुरा
हे ईश्वर कसूर क्या है इन मासुमओं का की आपकी कहर उनकी जिंदगी को निगल रहे हैं। इस तरह की दयनीय गुहार लगाते महेसुआ पंचायत में लोग दिख रहे हैं। जहा सोमवार को लगी भीषण आग ने देखते ही देखते 36 परिवार के लगभग 70 घर जल कर स्वाहा हो गया।
आग ने जो तांडव मचाया की लोग आग की विभीषिका के और घरो में रखे गैस सिलेंडर के विस्फोट के कारण घर में रखा एक भी सामान नही निकाल सका। सामान तो छोड़िए इस आग से एक मासुम को भी लोग नही निकाल पाए।
बच्ची की पहचान श्रवण कुमार की बताया गया पुत्री कोमल कुमारी के रूप में हुई। गैस सिलेंडर के फटने से हर कोई आग के पास जाने से कतराने लगा। वही सिलेंडर का टुकड़ा चारों तरफ फैलने से आग और तेजी से भड़क उठा।
मदद को हर ओर से बढ रहे हैं हाथ।
सोमवार के हादसे और सरकारी उदासीनता के बाद सुबह बिरेली बाजार के लोगों ने सभी पीड़ितों के बीच बिस्कुट और पानी का वितरण किया।फिर मुरही, चुरा, दालमोट का वितरण कर 1 बजे चाय बिस्कुट का व्यवस्था किया। वही 2 बजे महेसुआ पंचायत के वार्ड 6 और 10 के ग्रामीणों ने सभी पीड़ितों के भोजन की व्यवस्था की।
साथ वार्ड नंबर 6 के आंगनबाड़ी केंद्र राम जानकी स्थान में ग्रामीण 4 दिन तक भोजन की व्यवस्था की। उसके बाद जिस बेतौना में उसी दिन दो मासुम बच्चा आग में जलने का मातम मना रहे थे।
उस बेतौना के युवाओं ने साड़ी, बिस्कुट, मुरही, कुरकुरे, तेल, नमक और मसाला का वितरण किया। वही सकरपुरा के युवाओं ने खाना का सामग्री मुरही, आटा, चावल, सेंपु, लुंगी, गमछा के बाद बुधवार की सुबह बिस्कुट, दुघ और ब्रेड का भी वितरण किया।
दोपहर में समाजिक संगठन
प्रांगण रंगमंच के द्वारा भी भोजन सामग्री का कीट वितरण किया गया। वही प्रादेशिक मारवाड़ी संघ के प्रखंड अध्यक्ष दिलीप खंडेलवाल ने भी आटा, चावल का कीट का वितरण किया।