एमडीए कार्यक्रम के सफल क्रियान्वयन को जिलाधिकारी की अध्यक्षता में जिला समन्यवय समिति की बैठक आयोजित
- सभी अधिकारियों द्वारा समन्यवय स्थापित कर ज्यादा से ज्यादा लोगों को दवा खिलाना करें सुनिश्चित : जिलाधिकारी
- दवा रिएक्शन मरीज के देखभाल के लिए सभी प्रखंडों में बनाया जायेगा रेपिड रेस्पोंस टीम : सिविल सर्जन
- जिले में 17 दिन चलेगा सर्वजन दवा सेवन कार्यक्रम
- वर्तमान में जिले में है 3002 फाइलेरिया मरीज
कटिहार, 05 फरवरी।
जिले के सभी प्रखंडों में 10 फरवरी से फाइलेरिया उन्मूलन हेतु सर्वजन दवा सेवन (एमडीए) कार्यक्रम का संचालन किया जाना है। इस दौरान 02 वर्ष से अधिक उम्र के सभी सामान्य लोगों को फाइलेरिया से सुरक्षा के लिए आवश्यक दवाई खिलाई जाएगी। कार्यक्रम की सफलता के लिए डीएम रवि प्रकाश की अध्यक्षता में सभी विभाग के जिला एवं प्रखंड स्तरीय पदाधिकारियों के साथ समन्यवय बैठक का आयोजन समाहरणालय सभागार में किया गया। इस दौरान जिला पदाधिकारी रवि प्रकाश द्वारा सभी विभागों को एमडीए कार्यक्रम के दौरान ज्यादा से ज्यादा लोगों तक दवा पहुंचाने में सहयोग करने के लिए आवश्यक निर्देश दिया गया। आयोजित बैठक में सिविल सर्जन डॉ जितेन्द्र नाथ सिंह, जिला भेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ जे पी सिंह, आईसीडीएस डीपीओ किशलय शर्मा, जिला स्वास्थ्य समिति डीएएम सत्यम कुमार, डब्लूएचओ जोनल कोऑर्डिनेटर डॉ दिलीप कुमार, भीडीसीओ एन के मिश्रा, पिरामल डीपीओ चंदन कुमार, डीसी अमित कुमार, मनीष कुमार, सीफार डीसी पल्लवी कुमारी, एडीसी अमन कुमार, पीसीआई डीसी, जीविका डीसी के साथ सभी प्रखंड के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी व अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।
सभी अधिकारियों द्वारा समन्यवय स्थापित कर ज्यादा से ज्यादा लोगों को दवा खिलाना करें सुनिश्चित : जिलाधिकारी
आयोजित बैठक में उपस्थित सभी अधिकारियों को संबोधित करते हुए डीएम रवि प्रकाश ने कहा कि कटिहार जिले में आसपास के जिले की तुलना में कम फाइलेरिया मरीज उपलब्ध हैं। फाइलेरिया से सुरक्षा के लिए ज्यादा से ज्यादा लोगों को दवाई खिलाने से और लोगों के फाइलेरिया ग्रसित होने की संभावना खत्म हो जाएगी। इसके लिए 10 फरवरी से जिले के सभी प्रखंडों में सर्वजन दवा सेवन (एमडीए) कार्यक्रम चलाया जाएगा। इस दौरान गर्भवती महिलाओं और गंभीर बीमारी से ग्रसित लोगों को छोड़कर 02 वर्ष से अधिक उम्र के सभी लोगों को दवाई खिलाई जाएगी। ज्यादा से ज्यादा लोगों तक इसकी जानकारी पहुंच सके और लोग इसका लाभ उठा सके इसके लिए सभी विभागों से सहयोग आवश्यक है। 10 फरवरी से शुरू हो रहे कार्यक्रम के पहले 03 दिन स्कूलों, सरकारी व निजी कार्यालयों, विभिन्न कार्यक्रम स्थलों में दवाई खिलाई जाएगी इसके बाद आशा/आंगनबाड़ी सेविकाओं द्वारा लोगों को घर-घर जाकर दवाई खिलाई जाएगी। सभी विभाग के अधिकारियों द्वारा प्रयास करें कि पहले 03 दिन में ही ज्यादा से ज्यादा लोगों को दवाई खिलाया जा सके। इसके लिए जीविका, पंचायत प्रतिनिधियों को भी आवश्यक निर्देश दिया जाए जिससे कि उनके द्वारा भी आसपास के लोगों को जानकारी उपलब्ध कराई जा सके। जिलाधिकारी ने कहा कि पिछले साल भी जिले के बहुत से लोगों द्वारा एमडीए कार्यक्रम के दौरान दवाई का सेवन नहीं किया गया था। जो दवाई सेवन से इंकार करते हैं ऐसे लोगों को आसपास के फाइलेरिया ग्रसित मरीजों का उदाहरण दें ताकि वे लोग अपना जीवन फाइलेरिया से सुरक्षित रखने के लिए दवा का सेवन अवश्य करें। उन्होंने कहा कि सीफार द्वारा विभिन्न प्रखंडों में फाइलेरिया ग्रसित मरीजों का पेशेंट सपोर्ट ग्रुप व पेशेंट प्लेटफार्म बनाया गया है। उसमें शामिल मरीजों द्वारा भी आसपास के लोगों को दवा सेवन के लिए जागरूक किया जाता है। यह एक अच्छा उदाहरण है जिससे कि आमलोग फाइलेरिया मरीजों की समस्या समझते हुए सुरक्षित रहने के लिए दवा सेवन कर सकें।
दवा रिएक्शन मरीज के देखभाल के लिए सभी प्रखंडों में बनाया जायेगा रेपिड रेस्पोंस टीम : सिविल सर्जन
आयोजित बैठक में सिविल सर्जन डॉ जितेंद्र नाथ सिंह ने कहा कि जिले के सभी लोगों को घर-घर जाकर दवाई खिलाने के लिए जिले के सभी प्रखंडों में कुल 1727 आशा/सेविकाओं की टीम बनाई गई है। सभी टीम में दो आशा/सेविका उपस्थित रहेंगे। उनके द्वारा लोगों को घर घर जाकर दवाई अपने सामने खिलाई जाएगी। उनके काम के निरक्षण के लिए जिले में कुल 159 सुपरवाइजर नियुक्त किया गया है। उन्होंने बताया कि एमडीए कार्यक्रम के दौरान लोगों को डीईसी व एल्बेंडाजोल की दवाई खिलाई जाएगी। डीईसी के सेवन से बहुत लोगों को रिएक्शन होने की संभावना रहती है। ऐसे लोगों को तत्काल मेडिकल सहायता उपलब्ध कराने के लिए सभी प्रखंडों में रेपिड रेस्पॉन्स की टीम बनाई जाएगी जो लोगों की मदद के लिए हमेशा तैयार रहेगी। रिएक्शन होने वाले मरीजों को रेपिड टीम द्वारा पहले घर में और फिर जरूरत होने पर अस्पताल लाकर मेडिकल सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। सभी विभागों द्वारा इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए सहयोग करना है जिससे कि एमडीए कार्यक्रम को शत प्रतिशत पूरा किया जा सके।
जिले में 17 दिन चलेगा सर्वजन दवा सेवन कार्यक्रम :
जिला भेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ जे पी सिंह ने बताया कि फाइलेरिया उन्मूलन के लिए 10 फरवरी से शुरू हो रहा सर्वजन दवा सेवन (एमडीए) कार्यक्रम 17 दिन तक संचालित किया जाएगा। इसके पहले 03 दिन स्कूलों, कार्यालयों, कार्यक्रम स्थलों में बूथ लगाकर उपस्थित लोगों को दवाई खिलाई जाएगी। अगले 14 दिन आशा/सेविका कर्मियों द्वारा लोगों को घर-घर जाकर दवाई खिलाई जाएगी। इस दौरान छूटे हुए लोगों को भी दवाई खिलाने के लिए 07 अतिरिक्त दिन मॉपअप राउंड चलाया जाएगा। इस दौरान सभी लोगों को फाइलेरिया से सुरक्षित रहने के लिए दवा का सेवन करना चाहिए। उन्होंने बताया कि फाइलेरिया ग्रसित होने पर ऐसे मरीजों को स्वास्थ्य विभाग द्वारा प्रिवेंशन सुविधा उपलब्ध कराई जाती है। इस बीमारी से सुरक्षित रहने के लिए सभी लोगों को 10 फरवरी से शुरू हो रहे एमडीए कार्यक्रम में भाग लेकर दवा का सेवन करना चाहिए।
वर्तमान में जिले में है 3002 फाइलेरिया मरीज :
डब्लूएचओ जोनल कोऑर्डिनेटर डॉ दिलीप कुमार ने बताया कि वर्तमान में जिले में फाइलेरिया से ग्रसित मरीजों की संख्या 3002 है जिसमें से 2638 मरीज लिम्फोसाइट्स फाइलेरिया से तथा 384 मरीज हाइड्रोसील फाइलेरिया से ग्रसित हैं। ये बीमारी लोगों को क्यूलेक्स मच्छर द्वारा फाइलेरिया ग्रसित मरीजों के बाद समान्य व्यक्ति को काटने से होता है। इससे सुरक्षित रहने के लिए लोगों को सर्वजन दवा सेवन कार्यक्रम के दौरान डीईसी व एल्बेंडाजोल की दवाई खिलाई जाती है। ये दवाई लोगों के शरीर में उपलब्ध सभी माइक्रो फाइलेरिया को बढ़ने से पहले ही खत्म कर देता है। लोगों द्वारा दवाई का सेवन सुनिश्चित करने के लिए आशा/सेविकाओं द्वारा लोगों को दवाई अपने सामने खिलाया जाना है। सामान्य बीमारी के ईलाज के लिए दूसरे दवाई का सेवन करने वाले लोगों द्वारा भी इस दवाई का सेवन किया जा सकता है। कार्यक्रम के दौरान दवा सेवन करने वाले लोगो की जानकारी स्वीकृत एप्प के माध्यम से जिला और राज्य स्वास्थ्य विभाग को रिपोर्ट किया जाएगा। ज्यादा से ज्यादा लोगों को इस दवाई का सेवन करते हुए खुद को फाइलेरिया से सुरक्षित रखना चाहिए।